Friday 6 July 2018

Tips To Treat Mouth Ulcer

माउथ अल्सर एक ऐसी बीमारी है जिसका लक्षण हमें आसानी से नजर आ जाता है. जैसे कि होठों, मसूढ़े और मुंह के किसी अन्य हिस्सों में कोई सफेद घाव का दिखना, मुंह से खून का निकलना या फिर खाते समय मुंह में जलन सा महसूस होना मुंह में अगर छाले हो जाएं तो कुछ भी खाने में काफी परेशानी होती है। खाना तो दूर पानी पीना भी मुश्किल हो जाता है। 
छाले होने पर मुंह में तेज जलन और दर्द होता है। कुछ लोगों को तो भोजन नली तक में छाले हो जाते हैं। मुंह में छाला आना एक नार्मल बीमारी है, जो कुछ दिनों बाद अपने आप ठीक हो जाती है। कुछ लोगों को छाले बार-बार आते हैं। ऐसे लोगों को अपनी पूरी डॉक्टरी जांच करानी चाहिए, ताकि सही इलाज किया जा सके। मुंह में छाले होने के कई कारण होते हैं। कई बार पेट की गर्मी से भी छाले हो जाते हैं।    

  •  मुंह में छालो के कारण
  1. संक्रमण (infection) : बेक्टरीअल वायरल या फंगल 
  2. पेट की गर्मी (acidity)
  3. कब्ज (constipation)
  4. असंतुलित आहार विहार 
  5. गुटका या पान मसाले का अधिक सेवन
  6. ज्यादा तीखे मसले वाला भोजन
  7. मुह की गन्दगी
  8. तनाव व नींद पूरी ना होना 
  9. किसी वजह से पाचन तंत्र बिगड़ गया हो तो आपके मुह में बार बार छाले हो सकते है 
  10. ज्यादा समय तक एंटीबायोटिक मेडिसिन का सेवन
                 मुह के छालो का उपचार

  • माउथ अल्सर के मरीजों को को खाने में विटामिन-सी का प्रयोग करना चाहिए. इसके लिए आप दो-तीन गिलास संतरे का जूस प्रतिदिन पिएं. आप टमाटर से भी विटामिन सी प्राप्त कर सकते हैं.
  • जितना हो सके ज्यादा मसालेदार और तले-भुने खाद्य पदार्थों से परहेज करें.
  • मुंह की सिकाई करने के लिए आपको दिन में दो से तीन बार तक गरारा करना चाहिए.
  • अल्सर में जलन कम करने के लिए ग्लिसरीन में हल्दी का पाउडर मिलाकर उससे अल्सर वाली जगह पर धीरे-धीरे मालिश करें. इसके करीब 15-20  मिनट बाद इसे साफ कर लें.
  • पानी की कुछ बूंदों में एक चम्मच बेकिंग सोडा के साथ मिलाएं और उसे अल्सर वाली जगह पर दो-तीन बार लगायें और 15 मिनट बाद उसे अच्छे से साफ कर लें.
  • ऐसे में आपको ज्यादा से ज्यादा मात्रा में फलों का सेवन करना चाहिए और खूब पानी पीना चाहिए.
  • यदि आप खाना खाते समय खाने में कच्चे प्याज का इस्तेमाल करें तो और बेहतर होगा.
  • आम या अमरूद के नर्म पट्टियों को चबाकर उनका रस मुख में चालों के स्थान पर रखने से तथा इनके सेवन से भी इस ताकलीफ़ से राहत मिलती है. यही प्रयोग अगर जाजी मालीगी के पत्तों द्वारा किया जाए तो अत्यंत फलदायी सिद्ध होता है. इनसे थोड़ी देर के लिए सुन्न्ता का अनुभव होता है परंतु शीघ्र ही आराम आ जाता है
  • जीरा का आधा चम्मच चबाकर खाने के उपरांत 1 गिलास पानी पीजिए. इस प्रयोग से भी चालों में अत्यंत लाभ मिलता है.

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